*दिपावली की पूर्व संध्या पर जीकेसी ने मनाया दीपोत्सव*

*दिपावली की पूर्व संध्या पर जीकेसी ने मनाया दीपोत्सव*



जितेन्द्र कुमार सिन्हा, पटना, 10 नवम्बर  ::


देश के नाम, भगवान चित्रगुप्त जी महाराज के नाम, संगठन के नाम, सामाजिक सौहार्द के नाम और भाईचारा और जीवन को धन-धान से परिपूर्ण करने वाली माता लक्ष्मी के नाम से दीप जलाकर जीकेसी (ग्लोबल कायस्थ कान्फ्रेंस) ने दीपावली की पूर्व संध्या पर वृहस्पतिवार को नागेश्वर कॉलोनी के रॉयल गार्डेन स्थित केन्द्रीय कार्यालय के प्रांगण में दीपावली मनाया। कार्यक्रम का शुभारंभ भगवान चित्रगुप्त जी महाराज के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित एवं दीप प्रज्ज्वलित कर किया हुआ। 


कार्यक्रम को संबोधित करते हुए ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि  समस्त सृष्टि की मूलभूत आद्याशक्ति महालक्ष्मी है। वह सत्य, रज और तम तीनों गुणों का मूल समवाय है। वह लक्ष्य और अलक्ष्य, इन दो रूपों में रहती है। दीपावली के दिन इसी महालक्ष्मी का पूजा होता है। तामसिक रूप में वह क्षुधा, तृष्णा, निद्रा, कालरात्रि, महामारी के रूप में अभिव्यक्त होती है। राजसिक रूप में वह जगत का भरण-पोषण करने वाली श्री के रूप में जानी जाती है। 

कार्यक्रम में प्रबंध न्यासी रागनी रंजन ने कहा कि सर्वविदित है कि दिपावली अंधकार पर प्रकाश की विजय का धोतक है। दीपावली को कालरात्रि और महानिशा की संज्ञा भी दी गई है। दिपावली पांच दिन का पर्व होता है और इसका शुरुआत धनत्रयोदशी से शुरू होकर भाई दूज तक चलता है। पहला दिन कार्तिक कृष्ण त्रयोदशी व्रत को धनतेरस, धन्वन्तरी पूजा एवं प्राकट्योत्सव, नवीन वस्तुओं का क्रय, दीपदान, कुवेर पूजन और गोत्रीरात्र व्रत मनाया जाता है। दूसरा दिन कार्तिक कृष्ण पक्ष को रूप चतुर्दशी व्रत को उबटन से स्नान, यमतर्पण, श्रीहनुमान पूजन एवं जन्मोत्सव दीपदान और छोटी दीपावली मनाया जाता है। तीसरा दिन कार्तिक पक्ष की अमावस्या व्रत को पितृपूजन, महालक्ष्मी पूजन, दीपमाला, लक्ष्मी उपासना, काली उपासना किया जाता है। चौथा दिन कार्तिक शुक्ल पक्ष  प्रतिपदा को अन्नकूट और गोवर्धन पूजा किया जाता है। पांचवा और अंतिम दिन कार्तिक शुक्ल पक्ष द्वितीया को यमुना स्नान, यमतर्पण, चित्रगुप्त पूजा, बहिन के घर भोजन और बहिन द्वारा भाई को टीका लगाया जाता है।


कार्यक्रम में जीकेसी कला संस्कृति प्रकोष्ठ ने गणेशबंदना से संगीतमय कार्यक्रम शुरू किया जिसका शुभारंभ राष्ट्रीय उपाध्यक्ष सह बिहार प्रदेश अध्यक्ष दीपक अभिषेक ने किया। उन्होंने कहा कि दीपावली पर्व अंधेरा दूर करने का पर्व है सभी लोग समाज में फैले कुरीतियों को दूर करें ताकि समाज का भला हो सके। कार्यक्रम में जीकेसी के नये सदस्य कलाकार अश्विन वर्मा, सुनीता वर्मा एवं दिव्य ज्योति ने एक से बढ़कर एक गीतों की झरी लगा दी। वहीं राष्ट्रीय उपाध्यक्ष (कला संस्कृति प्रकोष्ठ) अनिल कुमार दास और प्रदेश अध्यक्ष (कला संस्कृति प्रकोष्ठ) दिवाकर कुमार वर्मा ने अपने सुधे गीतों से लोगों को मनमुग्ध कर दिया।


कार्यक्रम में ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद, प्रबंध न्यासी रागनी रंजन, राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष (मीडिया) जितेन्द्र कुमार सिन्हा एवं राष्ट्रीय उपाध्यक्ष सह बिहार प्रदेश अध्यक्ष दीपक अभिषेक ने आगंतुक विशिष्ठ लोगों को सम्मानित किया। सम्मानित होने वालों में संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष (मीडिया) संतोष कुमार श्रीवास्तव, सी एफ ओ कनिष्का रंजन, पटना जिला प्रभारी (मीडिया) अरविन्द कुमार अकेला, जीकेसी के नये सदस्य कलाकार में अश्विन वर्मा, सुनीता वर्मा एवं दिव्य ज्योति शामिल थे।


कार्यक्रम में शामिल होने वालों में सी एफ ओ कनिष्का रंजन, राष्ट्रीय अध्यक्ष (मीडिया) संतोष कुमार श्रीवास्तव, राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष (मीडिया) जितेन्द्र कुमार सिन्हा, राष्ट्रीय अध्यक्ष (कला संस्कृति प्रकोष्ठ) प्रेम कुमार, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष (कला संस्कृति प्रकोष्ठ) अनिल कुमार दास, राष्ट्रीय सचिव दिलीप कुमार सिन्हा, प्रदेश प्रवक्ता मुकेश महान, अध्यक्ष (मानवाधिकार। प्रकोष्ठ) नम्रता आनंद, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष सह बिहार प्रदेश अध्यक्ष  दीपक अभिषेक, वरिष्ठ उपाध्यक्ष नीलेश रंजन, प्रदेश मंत्री बालिराम श्रीवास्तव, प्रदेश अध्यक्ष (महिला प्रकोष्ठ) नंदा कुमारी, प्रदेश महासचिव संजय कुमार सिन्हा, कटिहार जिला प्रभारी (मीडिया) अशोक कुमार सिन्हा, प्रदेश अध्यक्ष (कला संस्कृति प्रकोष्ठ) दिवाकर कुमार वर्मा, पटना जिला महासचिव धनंजय प्रसाद, पटना जिला प्रभारी (मीडिया) अरविन्द कुमार अकेला प्रमुख थे। 

                  



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